पोल-खोल: धरने में शामिल होने के लिए कांग्रेस दे रही 500 रूपये, पैसे लो और झंडा उठाकर करो आन्दोलन

नेशनल हेराल्ड मामले के संबंध में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष राहुल गांधी से पूछताछ के विरोध में कांग्रेस नेता, कार्यकर्ता और समर्थक सोमवार को सड़कों पर उतरे. इस दौरान कांग्रेस पार्टी का एक अराजकता और अव्यवस्था दिखाते हुए वीडियो सामने आया है.
टाइम्स नाउ न्यूज चैनल द्वारा एक्सेस किए गए एक वीडियो में, हैदराबाद में आंदोलनकारियों को कथित तौर पर ईडी अधिकारियों द्वारा राहुल की पूछताछ के खिलाफ धरने में शामिल होने के लिए 500 रुपये रिश्वत का भुगतान किया गया था. इनमें से कई आंदोलनकारियों से जब पूछताछ की गई तो उन्हें धरने के पीछे का कारण भी नहीं पता था. उन्होंने कैमरे पर स्वीकार किया कि विरोध में शामिल होने और कांग्रेस का झंडा लहराने के लिए उन्हें 500 रुपये दिए गए थे.
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— Suresh Nakhua (सुरेश नाखुआ) 🇮🇳 (@SureshNakhua) June 13, 2022
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ईडी अधिकारीयों द्वारा राहुल गाँधी की पूछताछ करने के विरोध में कांग्रेस के शीर्ष नेताओं ने देश भर में कई ईडी कार्यालयों के बाहर प्रदर्शन किया, लेकिन सबसे चौंकाने वाला तथ्य यह था कि रैली में भाग लेने वालों को यह भी नहीं पता था कि वे कांग्रेस के झंडे क्यों ले जा रहे थे. कुछ ने कहा कि यह ‘भारत छोड़ो, नफरत हटाओ’ जैसे नारों के साथ एक एकजुटता मार्च का हिस्सा था, जबकि अन्य ने सत्तारूढ़ भाजपा के खिलाफ सामान्य बयानबाजी को दोहराया.
एक और चौंकाने वाली घटना में, युवा कांग्रेस नेता श्रीनिवास पुलिस को चालाकी से बचते हुए भागते हुए कैमरे में कैद हुए. पुलिस उसके पास पहुंची तो वह अपनी कार छोड़कर पैदल ही भाग गया.
@IYC के अध्यक्ष @srinivasiyc को जब पुलिस हिरासत में लेने पहुंची… तो देखिये कैसे चकमा देकर निकल गए श्रीनिवास. #RahulGandhi pic.twitter.com/nfluXXOHKE
— Niraj Pandey (ABP News) (@NirajPandeyLive) June 13, 2022
नेशनल हेराल्ड मामले में कथित मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में राहुल गांधी की जांच चल रही है. उन्हें 2 जून को ईडी के सामने पेश होने के लिए कहा गया था, लेकिन वह पेश नहीं हो सके क्योंकि वह विदेश में थे. इसके बाद ईडी ने 13 जून को दूसरा नोटिस जारी किया. प्रियंका गांधी और सैकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ उन्होंने पार्टी मुख्यालय से ईडी कार्यालय तक मार्च किया और उनसे घंटों पूछताछ की गई. राहुल गांधी से पूछताछ के विरोध में, कांग्रेस पार्टी ने ‘सत्याग्रह’ शुरू किया और सरकार पर राजनीतिक डायन-शिकार और प्रतिशोध की राजनीति का आरोप लगाया.